पहाड़ की दहाड़ — विदेशों में भी उतराखंड की लोक संस्कृति व लोक गीतों से पहाड़ का गौरब फल फूल रहा है। उत्तराखंड की बोली भाषा संस्कृति और लोक गीत कितने प्रसिद्ध और कितने लोकप्रिय यह लोकगीत उत्तराखंड के अलावा विदेश के लोगों को भी खूब भाते हैं भले हम दिल्ली देहरादून में रहकर अपनी बोली भाषा संस्कृति रीति रिवाज का आनंद अपने परिवेश में लेते है लेकिन आज भी उत्तराखंड के कई लोग विदेश में रहकर अपनी बोली भाषा संस्कृति रीति रिवाज और वेशभूषा का मान विश्व स्तर पर बढ़ा रहे हैं इसका जीता जागता उदाहरण ऑस्ट्रेलिया के सिडनी में पीएम नरेंद्र मोदी के स्वागत समारोह में उत्तराखंड की ऑस्ट्रेलिया में रह रही पहाड़ की नारी शक्ति द्वारा गाया गया पारंपरिक लोकगीत है।
वहीं प्रधानमंत्री नरेंद्र मोदी के आगमन और स्वागत के लिए भारतीय परंपरा के साथ उत्तराखंड की संस्कृति की झलक भी सिडनी में देखने को मिली जहां उत्तराखंड के प्रसिद्ध लोक गायक किशन महिपाल का लोकगीत घुघती पहाड़ की महिलाओं ने अपनी पारंपरिक वेशभूषा में गाया है जिससे उत्तराखंड का मान विश्व स्तर पर बड़ा है ।
सिडनी स्टेडियम में भारतीय प्रवासियों का उत्साह देख ऑस्ट्रेलियाई प्रधानमंत्री एंथनी अल्बनीज ने प्रधानमंत्री नरेंद्र मोदी को बॉस बताया। कहा, इनकी लोकप्रियता रॉकस्टार जैसी यता रॉकस्टार जैसी है। दुनिया में कहीं भी जाते हैं, इनका शानदार स्वागत किया जाता है। दरअसल, मोदी के स्टेडियम में पहुंचते ही वहां मौजूद करीब 21 हजार भारतवंशियों ने भारत माता की जय, वंदेमातरम और मोदी-मोदी के नारे लगाने शुरू कर दिए । अल्बनीज ने उन्हें गले लगाया और कहा, मोदी की लोकप्रियता अमेरिकी गायक-गीतकार स्प्रिंगस्टीन जैसी है। आखिरी बार कुडोस बैंक एरिना में स्प्रिंगस्टीन को देखा था। तब उन्हें भी ऐसा स्वागत नहीं मिला था, जैसा मोदी को मिला। स्प्रिंगस्टीन को फैन बॉस बुलाते हैं। अल्बनीज ने ‘प्रिय मित्र’ मोदी को ऑस्ट्रेलिया में दुनिया के सबसे बड़े लोकतंत्र की भावना लाने के लिए